रायपुर.आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना के दिशा-निर्देशों का उल्लंघन करने पर महासमुंद जिले के तीन निजी अस्पतालों को बड़ी कार्रवाई का सामना करना पड़ा है। योजना के नियमों का पालन न करने पर महानदी हॉस्पिटल (महासमुंद), सेवा भवन हॉस्पिटल (ग्राम जगदीशपुर, पिथौरा) और अंबिका हॉस्पिटल (ग्राम खरखरी, सरायपाली) को तीन माह के लिए योजना से निलंबित कर दिया गया है।
क्यों की गई कार्रवाई?
मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. आई. नागेश्वर राव ने बताया कि इन अस्पतालों ने आयुष्मान भारत योजना के तहत निर्धारित दिशा-निर्देशों और उपचार प्रोटोकॉल का पालन नहीं किया। जांच में पाया गया कि कुछ मामलों में अस्पतालों ने पात्र मरीजों को योजना के अंतर्गत निःशुल्क उपचार उपलब्ध नहीं कराया या आयुष्मान कार्ड से इलाज करने से इनकार किया।
इन गंभीर अनियमितताओं के कारण विभाग ने कार्रवाई करते हुए तीनों अस्पतालों को अस्थायी रूप से तीन महीनों के लिए निलंबित किया है। इस अवधि में ये अस्पताल आयुष्मान कार्डधारकों का इलाज नहीं कर पाएंगे।
मरीजों के लिए जरूरी जानकारी
डॉ. राव ने कहा कि आयुष्मान भारत योजना के तहत पंजीकृत प्रत्येक अस्पताल को पात्र मरीजों को निःशुल्क चिकित्सकीय सुविधा उपलब्ध कराना आवश्यक है।
योजना के तहत इलाज निर्धारित पैकेज दरों पर किया जाता है, जिससे मरीजों को किसी भी तरह की आर्थिक परेशानी न हो।
यदि कोई अस्पताल:
- आयुष्मान कार्ड से मुफ्त इलाज से इनकार करता है, या
- योजना के नियमों का पालन नहीं करता,
तो मरीज या उनके परिजन तुरंत इसकी शिकायत कर सकते हैं।
शिकायत और जानकारी के लिए संपर्क करें
- टोल-फ्री हेल्पलाइन नंबर: 104
- लिखित शिकायत के लिए:
- मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी (CMHO) कार्यालय, महासमुंद
- संबंधित खंड चिकित्सा अधिकारी (BMO) कार्यालय
मरीज इन माध्यमों से अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं और योजना से संबंधित विस्तृत जानकारी भी प्राप्त कर सकते हैं।
आयुष्मान भारत योजना क्या है?
आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (PM-JAY) भारत सरकार की एक महत्वाकांक्षी स्वास्थ्य बीमा योजना है, जिसके तहत 10 करोड़ से अधिक परिवारों को सालाना ₹5 लाख तक का मुफ्त इलाज उपलब्ध कराया जाता है।
इस योजना का उद्देश्य देश के गरीब और मध्यमवर्गीय परिवारों को गंभीर बीमारियों के इलाज का आर्थिक बोझ कम करना है।
विशेषज्ञों की राय (Expert Analysis):
स्वास्थ्य विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसे निलंबन अनुशासन और पारदर्शिता बनाए रखने के लिए आवश्यक हैं। इससे अन्य अस्पतालों को भी यह संदेश जाता है कि योजना का दुरुपयोग बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
ट्रस्ट फैक्टर (Trustworthiness):
यह जानकारी छत्तीसगढ़ स्वास्थ्य विभाग और मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी, महासमुंद द्वारा जारी आधिकारिक प्रेस विज्ञप्ति पर आधारित है।
जानकारी का स्रोत राज्य स्वास्थ्य विभाग की पुष्टि पर आधारित है, जिससे रिपोर्ट की विश्वसनीयता सुनिश्चित होती है।
महासमुंद के तीन निजी अस्पतालों का निलंबन इस बात का संकेत है कि आयुष्मान भारत योजना के नियमों का उल्लंघन करने पर अब कोई भी अस्पताल बख्शा नहीं जाएगा।
सरकार का यह कदम न केवल स्वास्थ्य सेवाओं में पारदर्शिता लाएगा बल्कि मरीजों के अधिकारों की रक्षा भी करेगा।
मरीजों से अपील है कि वे 104 टोल-फ्री नंबर पर शिकायत दर्ज कराने से न हिचकिचाएं और योजना का पूरा लाभ लें।
Quick Summary
- 3 निजी अस्पताल निलंबित – महानदी, सेवा भवन, अंबिका
- निलंबन अवधि – 3 महीने
- कारण – योजना दिशानिर्देशों का उल्लंघन
- शिकायत नंबर – 104
- कार्रवाई – सीएमएचओ महासमुंद द्वारा






